कविता

प्राकृतिक चिकित्सा

पंच तत्व में निहित है सब रोगों का उपचार
प्राकृतिक चिकित्सा दे रही जीवन को आधार

शुद्ध जल,स्वच्छ वायु,पृथ्वी का गुरुत्वाकर्षण
आकाश,अग्नि सब दे रहे बल,बुद्धि,आकर्षण

प्रकृति से प्राप्त हुआ हमें ये अनुपम उपहार
प्राकृतिक चिकित्सा दे रही जीवन को आधार

योग अधिक हो,भोग हो नियमित रोग मुक्त रहें
मानसिक और शारीरिक कष्ट से लोग मुक्त रहें

सुंदर काया,स्वस्थ हृदय दे उपवास व फलाहार
प्राकृतिक चिकित्सा दे रही जीवन को आधार

चित्त की चंचलता को शांत प्रकृति का कण-कण करे
भय मिटे,धन वैभव हो नित भोर भ्रमण का प्रण करें

जब चित्त सबल हो ,पथ सरल हो ,हो कभी न हार
प्राकृतिक चिकित्सा दे रही जीवन को आधार

वैभव दुबे

वैभव दुबे "विशेष"

मैं वैभव दुबे 'विशेष' कवितायेँ व कहानी लिखता हूँ मैं बी.एच.ई.एल. झाँसी में कार्यरत हूँ मैं झाँसी, बबीना में अनेक संगोष्ठी व सम्मेलन में अपना काव्य पाठ करता रहता हूँ।