गीत/नवगीत

गीत : देखो पिया…किया श्रृंगार

देखो पिया…किया श्रृंगार
हरी चूड़ियाँ और चुनरिया
मेंहदी, पायल,झुमके, हार…

सखी-सहेली और ठिठोली
हँसतीं सब मस्तों की टोली
झूला डला निंबवा की डार..

शुभ व्रत जनम के नाते जोड़े
रिमझिम की ये झाड़ियां ओढ़े
उपवन गीतों से गुलज़ार…

देखो पिया…किया श्रृंगार
हरी चूड़ियाँ और चुनरिया
मेंहदी, पायल,झुमके, हार…

शिप्रा खरे

नाम:- शिप्रा खरे शुक्ला पिता :- स्वर्गीय कपिल देव खरे माता :- श्रीमती लक्ष्मी खरे शिक्षा :- एम.एस.सी,एम.ए, बी.एड, एम.बी.ए लेखन विधाएं:- कहानी /कविता/ गजल/ आलेख/ बाल साहित्य साहित्यिक उपलब्धियाँ :- साहित्यिक समीर दस्तक सहित अन्य पत्रिकाओं में रचनायें प्रकाशित, 10 साझा काव्य संग्रह(hindi aur english dono mein ) #छोटा सा भावुक मेरा मन कुछ ना कुछ उकेरा ही करता है पन्नों पर आप मुझे मेरे ब्लाग पर भी पढ़ सकते हैं shipradkhare.blogspot.com ई-मेल - shipradkhare@gmail.com