गीत/नवगीत

“गजानन वंदना”

हे गजानन गौरी नन्दन

मूषकवाहन यशस्विन

अर्पण करती श्रद्धा सुमन

मेरे प्रभु सर्व देवात्मन॥-1

हे गजानन पार्वती नन्दन

विघ्नविनाशन घर घर आँगन

रक्षक सर्वजन सर्वात्मन

रिद्धी सिद्धि सकल गुण कानन॥-2

हे गजानन उमा के नन्दन

विद्याधन शुभगुणकानन

पूज्य देव प्रथम गुणिन

मंगलमूर्ति चतुरानन॥-3

हे गजानन शिवशक्ति नन्दन

दुख दारिद्र रोग निकंदन

सर्व गुणों के दाता जनधन

मनसा महिमा पालक पूजन॥-4

हे गजानन शिवा के नन्दन

विघ्नहरन मंगलकरन

धूप दीप नैवेद्य मोदकम

करूँ आरती जय शुभवदन॥-5

महातम मिश्र, गौतम गोरखपुरी

*महातम मिश्र

शीर्षक- महातम मिश्रा के मन की आवाज जन्म तारीख- नौ दिसंबर उन्नीस सौ अट्ठावन जन्म भूमी- ग्राम- भरसी, गोरखपुर, उ.प्र. हाल- अहमदाबाद में भारत सरकार में सेवारत हूँ