अन्य

नाटक – समझौता (सत्य घटना पर आधारित)

पात्र परिचय -:
राकेश -सहायक शिक्षक
राज- सहायक शिक्षक
कविन्द्र- सहायक शिक्षक
दिपक-प्रधान शिक्षक
हिरा- विशेष पदाधिकारी (चयनित)
विवेक -बरिष्ठ पदाधिकारी(चयनित)
•••••••••••

विवेक ~ हाँ तो बताइए आप सबका मामला क्या है।

दीपक~ सभी शिक्षक मिलकर मुझे परेशान करतें हैं छोटी छोटी बातों को लेकर हंगामा करने पर उतारू हो जाते हैं।

विवेक~ यह एक विद्यालय है आप सभी लोग अपने अपने दायित्व का निर्वाह करते हुए कार्य करें तो अच्छा होगा नहीं तो सभी को समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।

राज~ (आरोप लगाते हुए) ये बच्चों को शिक्षकों के प्रति भड़काने का कार्य करते हैं।

दीपक ~ ऐसा तो नहीं है ये तो सरासर झूठ बोल रहे हैं।

हिरा~ कौन सही बोल रहे हैं कौन गलत ये तो मैं नहीं जानता लेकिन एक शिक्षक को ऐसा कार्य करना अशोभनीय है।

कविन्द्र~( दीपक की ओर इशारा करते हुए) अच्छा एक बात और है ये बच्चों से ये बताते चलते हैं हम एम डी एम का बरतन का पैसा खा गये हैं।

दीपक ~ आप ये गलत बोल रहे हैं आप सबका खुद जब आपस में तकरार था तो बरतन वाली बात बच्चों के बीच में कहे थे। उसी बात को लेकर पूरे गांव में शोर है।

राकेश~ (दीपक की ओर इशारा करते हुए) जब आप एक प्रधान शिक्षक नहीं थे तो हम सभी को प्रणाम करते थे लेकिन आज बन गये हैं तो नहीं करतें हैं। ऐसा क्यों?

दीपक ~ उस समय मैं वरीयता क्रम में मैं अपने जगह पर था लेकिन बी आर सी के गलत नीति का शिकार था । रह गई बात प्रणाम करने का तो वो मेरी बड़प्पन था जिसको आप सब अहंकार की वजह से समझ नहीं पाये।

हिरा~ ( पक्षपात करते हुए) नहीं जब प्रणाम करते थे तो अपने जुनियर को करना चाहिए अब भी

दीपक ~ ये तो गलत बात है मेरी कोई इमेज है कि नहीं।

विवेक ~ देखिए आप सब लोग इस तरह से एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप करते रहेंगे तो यह विद्यालय राजनीति का अखाड़ा हो जायेगा इसमें पीसे जायेंगे बच्चे।

हिरा ~ बिलकुल सही।

दीपक ~ तब आदरणीय क्या किया जाय।

हिरा~ आप सब लोग सभी शिकवा-शिकायत भूल कर आपस में भाई चारा का भाव रखकर बढिया से विद्यालय चलाइए

विवेक ~ तभी ठीक रहेगा।

राज ~(अपने को श्रेष्ठ बतलाते हुए) क्या हम सहायक शिक्षक है तो हमारा अधिकार नहीं है पुरे विद्यालय का देख रेख करना।( जबकि इनका कार्य एक दायरे तक सीमित है)

हिरा~ (पक्षपात करते हुए) हाँ क्यों नहीं आपका पूरा हक है

विवेक~ आप लोग पिछली सभी बातों को भूल कर आपस में खुशि-खुशी एक दूसरे से हाथ मिलाकर विद्यालय को अच्छे तरीके से चलायें।

सभी शिक्षक एक दूसरे से हाथ मिलाते हैं गले मिलते हैं अपने अपने घर जाते हैं।
(गोष्ठी यही पे समाप्त हो जाती है।)

@रमेश कुमार सिंह ‘रुद्र’

रमेश कुमार सिंह 'रुद्र'

जीवन वृत्त-: रमेश कुमार सिंह "रुद्र"  ✏पिता- श्री ज्ञानी सिंह, माता - श्रीमती सुघरा देवी।     पत्नि- पूनम देवी, पुत्र-पलक यादव एवं ईशान सिंह ✏वंश- यदुवंशी ✏जन्मतिथि- फरवरी 1985 ✏मुख्य पेशा - माध्यमिक शिक्षक ( हाईस्कूल बिहार सरकार वर्तमान में कार्यरत सर्वोदय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय सरैया चेनारी सासाराम रोहतास-821108) ✏शिक्षा- एम. ए. अर्थशास्त्र एवं हिन्दी, बी. एड. ✏ साहित्य सेवा- साहित्य लेखन के लिए प्रेरित करना।      सह सम्पादक "साहित्य धरोहर" अवध मगध साहित्य मंच (हिन्दी) राष्ट्रीय सचिव - राष्ट्रीय शिक्षक संचेतना उज्जैन मध्यप्रदेश,      प्रदेश प्रभारी(बिहार) - साहित्य सरोज पत्रिका एवं भारत भर के विभिन्न पत्रिकाओं, साहित्यक संस्थाओं में सदस्यता प्राप्त। प्रधानमंत्री - बिहार हिन्दी साहित्य सम्मेलन इकाई सासाराम रोहतास ✏समाज सेवा - अध्यक्ष, शिक्षक न्याय मोर्चा संघ इकाई प्रखंड चेनारी जिला रोहतास सासाराम बिहार ✏गृहपता- ग्राम-कान्हपुर,पोस्ट- कर्मनाशा, थाना -दुर्गावती,जनपद-कैमूर पिन कोड-821105 ✏राज्य- बिहार ✏मोबाइल - 9572289410 /9955999098 ✏ मेल आई- rameshpunam76@gmail.com                  rameshpoonam95@gmail.com ✏लेखन मुख्य विधा- छन्दमुक्त एवं छन्दमय काव्य,नई कविता, हाइकु, गद्य लेखन। ✏प्रकाशित रचनाएँ- देशभर के विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं में एवं  साझा संग्रहों में रचनाएँ प्रकाशित। लगभग 600 रचनाएं पत्र-पत्रिकाओं तथा 50 साझा संग्रहों एवं तमाम साहित्यिक वेब पर रचनाये प्रकाशित। ✏साहित्य में पहला कदम- वैसे 2002 से ही, पूर्णरूप से दिसम्बर 2014 से। ✏ प्राप्त सम्मान विवरण -: भारत के विभिन्न साहित्यिक / सामाजिक संस्थाओं से  125 सम्मान/पुरस्कार प्राप्त। ✏ रूचि -- पढाने केसाथ- साथ लेखन क्षेत्र में भी है।जो बातें मेरे हृदय से गुजर कर मानसिक पटल से होते हुए पन्नों पर आकर ठहर जाती है। बस यही है मेरी लेखनी।कविता,कहानी,हिन्दी गद्य लेखन इत्यादि। ~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~ आदरणीय मित्र मेरे अन्य वेबसाईट एवं लिंक--- www.rameshpoonam.wordpress.com http://yadgarpal.blogspot.in http://akankshaye.blogspot.in http://gadypadysangam.blogspot.in http://shabdanagari.in/Website/nawaunkur/Index https://jayvijay.co/author/rameshkumarsing ~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~ आपका सुझाव ,सलाह मेरे लिए प्रेरणा के स्रोत है ~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~