लघुकथा

लघुकथा- सलाह

छोटी बिटिया के ससुराल में सब कुछ ठीक ठाक नहीं होने की वजह से चिंतित सिद्धेश्वर बाबू को उनके समधी (बड़ी बिटिया के ससुर)  रामधनी जी ने कहा- “समधी साहब! इतना मत सोंचिये, लड़का तो आपके पक्ष में है न! बस हो गया, भाँड़ में जाए उसका एमिली-फैमिली। तब से दिमाग खपाए जा रहे हैं, कौन अब संयुक्त परिवार में रहता है, जमाना बदल गया है, आप वहीं के वहीं हैं।”
बात खत्म होने से पहले, उन्हें अचानक याद आया, वह भी तो सिद्धेश्वर जी की बड़ी बिटिया के ससुर हैं, उनका भी तो बेटा और बहु हैं।अब वे अपने दिये हुए सलाह पर निर्णय नही कर पा रहे थे ।

नवीन कुमार साह

नवीन कुमार साह

ग्राम -नरघोघी, पोस्ट -अख्तियारपुर जिला- समस्तीपुर बिहार । मो-9162427455 ईमेल nks.smp373@gmail.com