गीतिका/ग़ज़ल

कहो तो प्यार का नज्म लिख दूँ

कहो तो प्यार का नज्म लिख दूँ
कहो तो नफरत का वक्त लिख दूँ

मुझसे मिलने वाले है हजारो लेकिन
कहो तो तुमसे मिलने का खत लिख दूँ

अाजकल प्यार प्यार कहां रहा यार
कहो तो फैले नफरत का बाजार लिख दूँ

मुकद्दर नही हमारा तुम्हारा इश्क
कहो तो अपना इक कहानी लिख दूँ

मॉगती है हजारो दुआएं ‘निवेदिता’
कहो तो झुके पलको का राज लिख दूँ।
निवेदिता चतुर्वेदी’निव्या’

निवेदिता चतुर्वेदी

बी.एसी. शौक ---- लेखन पता --चेनारी ,सासाराम ,रोहतास ,बिहार , ८२११०४