मुक्तक/दोहा

तुम्हारा दीदार

आज फीर से बहार छाई है
आज फीर से यहाँ चमन लौटा है
आज किसी के खुश्बू से
पुरा गगन महका है
आज उन के दीदार से
ये दिल बार बार धड़का है

रवि प्रभात

पुणे में एक आईटी कम्पनी में तकनीकी प्रमुख. Visit my site