बाल कविता

रहे तिरंगा

हर हाथ में रहे तिरंगा भाई ।
हर  हाथ  में बहे गंगा भाई ।

तन-मन सुंदर निर्मल-धवल ।
चेहरे पर हो खिलता कँवल ।

हिमालय जैसे हों ऊँची शान ।
सिंधु सा  धीर गम्भीर महान ।

ईश्वर  से  महान  माता-पिता ।
मानें कुरान इन्हें समझें गीता ।

मातृधरा की करें पहली पूजा ।
काम  करें  फिर अपना दूजा ।

ऐसा   करेगा   जब   हर  इंसान ।
धरा हँसेगी मुस्काएगा आसमान ।

टीकेश्वर सिन्हा "गब्दीवाला"

शिक्षक , शासकीय माध्यमिक शाला -- सुरडोंगर. जिला- बालोद (छ.ग.)491230 मोबाईल -- 9753269282.