पुस्तक समीक्षा

बच्चों के लिए अनुपम पुस्तकें

जैसा कि विवरण से स्पष्ट है, यह 3 पुस्तकों का एक सेट है, जो विशेष रूप से बच्चों को ही ध्यान में रखकर लिखी गयी हैं।
पहली पुस्तक ‘रोचक बाल कथाएँ’ में अनेक रोचक बाल कथाएँ दी गयी हैं, जिनमें से अधिकांश मौलिक हैं और कुछ पुरानी दन्तकथाओं पर आधारित हैं। सभी को बहुत रोचक भाषा शैली में प्रस्तुत किया गया है, जिससे लेखिका के परिश्रम का पता चलता है। सभी कथायें बच्चों के मन को बाँध लेने वाली हैं, जिनको पूरा पढ़े बिना बीच में छोड़ना असम्भव है।
दूसरी पुस्तक ‘बाल हनुमत कथा’ में हम सबके आराध्य हनुमान जी की सम्पूर्ण कथा को बहुत रोचक शैली में कथाओं में बाँटकर प्रस्तुत किया गया है। प्रत्येक कथा हनुमान जी के बल और उनकी बुद्धि के प्रति श्रद्धा एवं विश्वास जगाने वाली हैं। इनका बच्चों के मन पर बहुत सकारात्मक प्रभाव पड़ना अवश्यंभावी है, जो कि आवश्यक भी है। लेखिका ने इसके लेखन में बाल मनोविज्ञान का अच्छा उपयोग किया है, यह स्पष्ट है।
तीसरी पुस्तक ‘नवल काव्य माला’ में अनेक छोटी-छोटी कवितायें हैं, जो हिमालय पर्वत, चिड़िया, दादा-दादी, दीपक आदि अनेक रोचक विषयों को अपने में समेटे हुई हैं। कविताओं की भाषा इतनी सरल और सरस है कि कोई भी बच्चा इनको दो-चार बार पढ़कर याद कर सकता है। इससे रचयिता रबीन्द्र नाथ सिंह की काव्य प्रतिभा का परिचय प्राप्त होता है।
तीनों पुस्तकें रंग-बिरंगे चित्रों से सुशोभित हैं। लगभग प्रत्येक दूसरे-तीसरे पृष्ठ पर विषय के अनुरूप चित्र दिये गये हैं। छपाई और कागज उत्तम कोटि का है। सबके मुखपृष्ठ आकर्षक हैं। लेकिन पृष्ठ संख्या की तुलना में मूल्य अधिक प्रतीत होता है। कुल मिलाकर प्रयास स्तुत्य है।

— डॉ. विजय कुमार सिंघल

पुस्तक 1ः रोचक बाल कथाएँ (बाल कथा संग्रह)
पुस्तक 2ः बाल हनुमत कथा (बाल कथा संग्रह)
लेखिका : ममता सिंह
पुस्तक 3ः नवल काव्य माला (बाल कविता संग्रह)
कवि : रबीन्द्र नाथ सिंह
प्रकाशक : बुक रिवर्स
पृष्ठ संख्या : क्रमशः 56, 56 एवं 50
मूल्य : क्रमशः रु. 270, रु. 150 एवं रु. 250

डॉ. विजय कुमार सिंघल

नाम - डाॅ विजय कुमार सिंघल ‘अंजान’ जन्म तिथि - 27 अक्तूबर, 1959 जन्म स्थान - गाँव - दघेंटा, विकास खंड - बल्देव, जिला - मथुरा (उ.प्र.) पिता - स्व. श्री छेदा लाल अग्रवाल माता - स्व. श्रीमती शीला देवी पितामह - स्व. श्री चिन्तामणि जी सिंघल ज्येष्ठ पितामह - स्व. स्वामी शंकरानन्द सरस्वती जी महाराज शिक्षा - एम.स्टेट., एम.फिल. (कम्प्यूटर विज्ञान), सीएआईआईबी पुरस्कार - जापान के एक सरकारी संस्थान द्वारा कम्प्यूटरीकरण विषय पर आयोजित विश्व-स्तरीय निबंध प्रतियोगिता में विजयी होने पर पुरस्कार ग्रहण करने हेतु जापान यात्रा, जहाँ गोल्ड कप द्वारा सम्मानित। इसके अतिरिक्त अनेक निबंध प्रतियोगिताओं में पुरस्कृत। आजीविका - इलाहाबाद बैंक, डीआरएस, मंडलीय कार्यालय, लखनऊ में मुख्य प्रबंधक (सूचना प्रौद्योगिकी) के पद से अवकाशप्राप्त। लेखन - कम्प्यूटर से सम्बंधित विषयों पर 80 पुस्तकें लिखित, जिनमें से 75 प्रकाशित। अन्य प्रकाशित पुस्तकें- वैदिक गीता, सरस भजन संग्रह, स्वास्थ्य रहस्य। अनेक लेख, कविताएँ, कहानियाँ, व्यंग्य, कार्टून आदि यत्र-तत्र प्रकाशित। महाभारत पर आधारित लघु उपन्यास ‘शान्तिदूत’ वेबसाइट पर प्रकाशित। आत्मकथा - प्रथम भाग (मुर्गे की तीसरी टाँग), द्वितीय भाग (दो नम्बर का आदमी) एवं तृतीय भाग (एक नजर पीछे की ओर) प्रकाशित। आत्मकथा का चतुर्थ भाग (महाशून्य की ओर) प्रकाशनाधीन। प्रकाशन- वेब पत्रिका ‘जय विजय’ मासिक का नियमित सम्पादन एवं प्रकाशन, वेबसाइट- www.jayvijay.co, ई-मेल: jayvijaymail@gmail.com, प्राकृतिक चिकित्सक एवं योगाचार्य सम्पर्क सूत्र - 15, सरयू विहार फेज 2, निकट बसन्त विहार, कमला नगर, आगरा-282005 (उप्र), मो. 9919997596, ई-मेल- vijayks@rediffmail.com, vijaysinghal27@gmail.com