आलिंगन
नारी के आलिंगन में सुप्त है ममता‚ हमदर्दी प्रेम का अथाह समंदर बेशक‚ नर के आलिंगन में हिम्मत‚ साहस व
Read Moreकांटों भरा हो पथ चाहे हम तनिक नहीं घबराएँगे लाँघ मार्ग की बाधाएँ विजय का ध्वज लहराएँगे चलते रहेंगे, बढ़ते
Read Moreझमझमा – झम बरसे पानी कहता अपनी अमर कहानी | कहीं बाढ़ है तो कहीं है सूखा अमृत – जहर
Read Moreदे दूं मैं दोष किसे यह बतलाओ, मिटती मानवता का कारण बतलाओ। अभी-अभी जो जन्मा उसका दोषी कौन, कैसा विकास?
Read Moreसही – सही हो अगर जल प्रबंधन तो न हो हानि जन की – धन की न हो हाहाकार न
Read Moreमेरी रूह तेरे रूह की पैरहन में लिपटे खामोश फ़िज़ा में कुछ इस तरह सिमटे दिल की ख़िलाफ़त एक-एक लम्हें
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