मुक्तक/दोहा

मुक्तक

मेघ की गिरती ये बूँद , सरगम इक सुना गयी सोये हुए अरमान में, चिंगारी सुलगा गयी तेरी यादों में गुम थी, उन फुरसत के पल में, सूख गये थे जो नासूर, फिर से नम बना गयी । रंगो की होती बारिश है, झूमे दिन और रात भरे कलुषता मन भीतर, करत है मीठी बात […]

मुक्तक/दोहा

बधाई

आपस में आप सभी मित्र जन होली मनाई, प्रेम रूपी दिलभरे रंगों को एक में मिलाई, यही मैं ईश्वर से कर बद्ध प्रार्थना करता हूँ, सभी मित्र अपने-अपने घर खुशियाँ मनाई। •

मुक्तक/दोहा हास्य व्यंग्य

हास्य मुक्तक

  अरे जिनकी मुहब्बत में खुदी को हम भुला बैठे। वही हमको पकड़वाने सिपाही को बुला बैठे। तमन्ना थी कि सावन फिल्म इक हमपर भी बन जाये, पुलिस स्टेशन के पचड़े में वो हमको ही झुला बैठे॥ ………………………………. बड़ा जालिम जमाना है, नहीं थोड़ा सुहाता है। बिना चूल्हा जलाए रात-दिन भेजा पकाता है। गले लगके […]

मुक्तक/दोहा

मुक्तक : जाम-पे-जाम

पैग-पे- पैग हम तो चढाते रहे। जाम-पे-जाम हम तो लगाते रहे। जैसे जन्नत में हूँ ऐसा हुआ असर, आनंद, कुछ समय गुदगुदाते रहे। पानी को हर पैग में, मिलाते रहे। दोनों मिलकर नशा भिगाते  रहे। बाद में मेरा, मौसम रंगीन हुआ। कि अपने को ख्वाब में डुबाते रहे।

मुक्तक/दोहा

अनेकता में एकता

आप लोग इस समूह को आगे बढायें, अनेकता में एकता जहां को दिखायें। हैं आप लोग इस देश का भविष्य, आने वाले भविष्य को सुन्दर बनायें। ———————— फुल की तरह हमेशा चहकते रहें। पंखुड़ियों की तरह खुशबू बिखेरते रहें। हमेशा अपने सहेलियों के साथ खुशबू जी। लोगों को अच्छा संदेश सुनाते रहें।।

मुक्तक/दोहा

मुक्तक

नई भोर की सतरंगी छवि नई कविता लिखता है कवि गढ़ते है शब्द उकेरे चित्र निकलता जब बादलो से रवि आँखों में सपने लिए स्वागत नये वर्ष का नई किरण के साथ रवि आया नये वर्ष का सबके सपने सजे खुशियाँ मिले अनंत तो करो स्वागत दो हजार पन्द्रह नये वर्ष का