हर पल उन्हें याद करते भी हैं
रोते भी हैं सिसकते भी हैं
हर पल उन्हें याद करते भी हैं
पास भी आ नही सकते
दूर भी जा नही सकते
हर पल बस एक फरियाद करते हैं
रोते भी हैं सिसकते भी हैं
हर पल………………..
वो कहते हैं उनकी जगह नही कोई
कैसे बताऊँ की मेरे जीवन में
उनके जैसा दूसरा नही कोई
हर पल दिल में एक आस रखते हैं
रोते भी हैं सिसकते भी हैं
हर पल उन्हें……………….
एक अनजानी सी डोर में बंधे हैं
तोड़े से न टूट पाय वो बंधन है
जाने कब से उन्हें कितना प्यार करते हैं
लाख मजबूरियां हों हमारी
फिर भी जान उनपे न्योछावर करते हैं
क्या कहूँ अपने इस ज़ज़्बे को
उनकी आँख से आंसू छलक उठता है
रूह तक काम्प् उठती है
रोते भी हैं सिसकते भी हैं
हर पल उन्हें याद करते भी हैं….