चॉद तारो का मेल
चॉद तारो का मेल
है नही ये कोई खेल
जब आसमां मे चॉद दिखे
तारें भी संग संग छाये
बच्चो को खुब भाता है
जब दोनो को संग पाता है
जी मचल उठता है
सोच मे वह पड जाता है
कैसा ये है प्रेम निराला
कभी अकेला न पाता है|
निवेदिता चतुर्वेदी