ग़ज़ल : आप को प्यार से सजा देंगे
आप को प्यार से सजा देंगे
दूरियाँ बीच की मिटा देंगे
हम पुजारी हैं,अपने मन्दिर का
देवता अब तुम्हें बना देंगे
किस तरह जी रहे हैं दुनियाँ में
जख़्म दिल के सभी बता देंगे
इस कदर बह गये हैं रस्ते में
अश्क अब घर का खुद पता देंगे
सत्य क्या है ,तभी वो मानेगा
आइना जब उसे दिखा देंगे
जिन्दगी मान ले कहा मेरा
मौत को आज हम हरा देंगे
क्या करेगा ‘प्रणय’ जमाने का
तेरे अपने तुझे भुला देंगे
— लव कुमार ‘प्रणय’
अलीगढ़
वाह वाह !