लघुकथा

लघुकथा- सांझे सपने

लघुकथा- साँझे सपने

पिछली बार प्याज को रोड़ी में फेकना पड़ा. मगर, इस बार भाव अच्छे थे, “ बाबा ! इस बार तो मुझे नया मोबाइल दिला दोगे ना ?” कालेज में पढने का सपना देखने वाले छोटे लड़के ने पूछा तो उस की माँ बोली, “ पहले छुटकी का ब्याह करना है. उस के लिए गहनेकपडे लेने होंगे.”

“ नहीं माँ ! पहले आप का कमरबंद और सोने का हार सुनार के यहाँ से वापस ले आइएगा. फिर मेरा ब्याह करने की सोचिएगा.”

“ तब तो पहले बाबा के लिए, मोटर साइकिल खरीदनी चाहिए. बाबा को रोज ५ किलोमीटर दूर खेत पर पैदल जाना पड़ता है.”

“ नहीं रे ! मुझे नहीं चाहिए. पैदल जाने से सेहत अच्छी रहती है.” बाबा ने बीडी पीते हुए कहा, “ पहले तेरा नया मोबाइल आ जाए और छुटकी का ब्याह हो जाए तो समझे की गंगा नहा गए,” बाबा ने यही बोला था कि पुराने मोबाइल की घंटी बज उठी. शहर में नौकरी करने वाले बड़े भाई का फोन था. जिसे सुन कर बाबा के चेहरे का रंग बदल रहा था.

“ भैया ! यह खेत आप का भी है. मुझे खर्चापानी नहीं चाहिए. आप, आप के हिस्से का मालपानी ले जाइएगा.” कहते ही बाबा को गत वर्ष रोड़ी में फेंके गए प्याज और अपने ऊपर पड़े सभी हर्जेखर्चे की याद आ गई जब इन्ही भाई साहब ने कहा था , “ भाई ! मुझे न तो प्याज की कमाई से हिस्सा चाहिए और न मैं खर्चपानी दूंगा.”

यह सुनते ही सभी को एकदूसरे के सपने धुंधले होते हुए दिखाई दे रहे थे.

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१७/०५/२०१६   

*ओमप्रकाश क्षत्रिय "प्रकाश"

नाम- ओमप्रकाश क्षत्रिय ‘प्रकाश’ जन्म- 26 जनवरी’ 1965 पेशा- सहायक शिक्षक शौक- अध्ययन, अध्यापन एवं लेखन लेखनविधा- मुख्यतः लेख, बालकहानी एवं कविता के साथ-साथ लघुकथाएं. शिक्षा-बीए ( तीन बार), एमए (हिन्दी, अर्थशास्त्र, राजनीति, समाजशास्त्र, इतिहास) पत्रकारिता, लेखरचना, कहानीकला, कंप्युटर आदि में डिप्लोमा. समावेशित शिक्षा पाठ्यक्रम में 74 प्रतिशत अंक के साथ अपने बैच में प्रथम. रचना प्रकाशन- सरिता, मुक्ता, चंपक, नंदन, बालभारती, गृहशोभा, मेरी सहेली, गृहलक्ष्मी, जाह्नवी, नईदुनिया, राजस्थान पत्रिका, चैथासंसार, शुभतारिका सहित अनेक पत्रपत्रिकाआंे में रचनाएं प्रकाशित. विशेष लेखन- चंपक में बालकहानी व सरससलिस सहित अन्य पत्रिकाओं में सेक्स लेख. प्रकाशन- लेखकोपयोगी सूत्र एवं 100 पत्रपत्रिकाओं का द्वितीय संस्करण प्रकाशनाधीन, लघुत्तम संग्रह, दादाजी औ’ दादाजी, प्रकाशन का सुगम मार्गः फीचर सेवा आदि का लेखन. पुरस्कार- साहित्यिक मधुशाला द्वारा हाइकु, हाइगा व बालकविता में प्रथम (प्रमाणपत्र प्राप्त). मराठी में अनुदित और प्रकाशित पुस्तकें-१- कुंए को बुखार २-आसमानी आफत ३-कांव-कांव का भूत ४- कौन सा रंग अच्छा है ? संपर्क- पोस्ट आॅफिॅस के पास, रतनगढ़, जिला-नीमच (मप्र) संपर्कसूत्र- 09424079675 ई-मेल [email protected]

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