गीत/नवगीत

गीत : अपना मुल्क बचायेंगे

भ्रष्ट्राचारी के खिलाफ, फिर से आवाज उठाऐंगे
और सभी मिल करके, फिर से वंदे मातरम् गाऐंगे
सर कटवा देंगे लेकिन, हम शीश नही झुकवाऐंगे
जान हथेली पर रखकर, हम अपना मुल्क बचाऐंगे

याद करो मिलकर ऊधम सिंग, और भगत की फाँसी की
रक्षा करना है हमको, लक्ष्मीबाई की झांसी की
आज जरुरत है हमको, फिर से सुभाष के नारो की
भाषा सीखो शेखर की, और राणा की तलवारो की

भारत को विश्व गुरु, बनाने की तैयारी है
अनेकता में एकता, विशेषता हमारी है
भारत की भूमि हमें, प्राणों से भी प्यारी है
भारत की आन-वान-शान अब हमारी है

अंधा है कानून यहाँ पर, भोली भाली जनता है
पढ़ता है इण्डिया, तभी आगे बढ़ता है
सत्यमेव जयते स्वयं पर, संदेह अब करता है
कलियुगी दुनिया में, ईमान जन बिकता है

देश पर कोई आँख उठाऐं, चुप नही बैठेंगे हम
ईंट का जबाव फेंक, पत्थरों से देंगे हम
अयोध्या में राम मंदिर, फिर से मिल बनाऐं हम
आओ एक बार सब, फिर से मिल जाऐं हम।

शिवेश अग्रवाल ‘नन्हाकवि’

शिवेश हरसूदी

खिरकिया, जिला हरदा (म.प्र.) मो. 8109087918, 7999030310