हिंदी प्रेम (दोहा गीत)
मन के कागद पर लिखो ,प्रिय मेरी तकदीर|
हृदय कलम मसि नेह की ,रँगो धवल तस्वीर||
आखर-आखर जोड़ के,लिख दो दिल की प्रीत|
छंद-छंद सिंगार का ,प्रणय बद्ध संगीत||
बँधी प्रेम अनुबंध में, सरिता बहे अधीर|
हृदय कलम मसि नेह की ,रँगो धवल तस्वीर||
भीग नेह में हो हरें, पीत विटप के पर्ण|
हाथ लकीरों में रचें,स्नेहिल सुरभित वर्ण||
सींचे दिल की क्यारियाँ,नयनो का ये नीर|
हृदय कलम मसि नेह की ,रँगो धवल तस्वीर||
वर्णों में विश्वास हो , भावों में मनुहार|
पावनता आधार हो , करूँ प्रेम स्वीकार||
मिलें क्षितिज में तोड़कर, रस्मों की जंजीर|
हृदय कलम मसि नेह की ,रँगो धवल तस्वीर||
का खा गा घा भूल कर ,ए बी सी डी याद|
जब से लव ये हो गया, हुआ प्रेम बर्बाद||
शब्द शपथ भर मांग में ,हर हिन्दी की पीर|
हृदय कलम मसि नेह की ,रँगो धवल तस्वीर||
————–राजेश कुमारी ‘राज ‘