पिता प्रेम
अपने अरमानों को अधूरा छोड़ कर,
जो हमारे अरमान पूरे करें,
वह है पिता !
जो ख़ुद दर्द में भी दवा ना लगाये,
पर हमारे दर्द पर घर सर पर उठा ले ,
वह है पिता !
अपनी ख्वाहिशें पूरी न करके जो,
हमारी ख्वाहिशों को पूरा करें,
वह है पिता !
जो हर त्योहारों पर खुद पुराने कपड़े पहनें,
पर हमारे लिए नए कपड़ों का प्रबंध करें,
वह है पिता !
हमें जीवन में हमें आगे बढ़ने के लिए,
जो अपना सब कुछ निछावर कर दे,
वह है पिता !
जो हमारी हर छोटी छोटी बात का ख़्याल रखे,
लेकिन अपना ख़्याल ना रखें ,
वह है पिता !