धर्म-संस्कृति-अध्यात्म

शिव और शक्ति का दिन-महाशिवरात्रि

महाशिवरात्रि का त्यौहार हिंदू धर्म में एक विशेष महत्व रखता है। वर्ष में आने वाली 12 शिवरात्रि में से फाल्गुन मास में आने वाली शिवरात्रि का विशेष महत्व है। इसी के चलते इसे महाशिवरात्रि कहा जाता है।महाशिवरात्रि का त्यौहार फाल्गुन मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी को बड़े उत्साह,उमंग और श्रद्धा से साथ मनाया जाता है। पौराणिक कथाओं के अनुसार ऐसा माना जाता है कि इस दिन सृष्टि का प्रारंभ हुआ था। महादेव के विशालकाय स्वरूप की उत्पत्ति एक अग्निलिंग के उदय से आरंभ हुई मानी जाती है। यह भी मान्यता है कि इस दिन भगवान शिव का देवी पार्वती से विवाह हुआ था। इसलिए शिव पार्वती के मिलन को पर्व के रूप में भी महाशिवरात्रि मनाई जाती है। महाशिवरात्रि इस बार और भी महत्वपूर्ण हो गई है। सोमवार का दिन भोलेनाथ का माना जाता है और इस बार शिवरात्रि सोमवार को है। जिसके फलस्वरूप महाशिवरात्रि का महत्व और भी अधिक बढ़ गया है। महाशिवरात्रि के दिन अल सुबह से ही मंदिर में श्रद्धालुओं की भीड़ बढ़ने लगती है। महाशिवरात्रि का पर्व महिलाओं के लिए विशेष महत्व रखता है। महिलाएं व्रत रखती है। संतान प्राप्ति में परिवार की सुख-समृद्धि की भोलेनाथ से कामना करती है। वहीं अविवाहित युवतियां योग्य वर की कामना से शिव की पूजा करती है। पुरुष शिव की पूजा अर्चना कर ऐश्वर्य,मान सम्मान एवं लक्ष्मी प्राप्ति की कामना करते हैं।

*महाशिवरात्रि के दिन क्या करे?

अल सुबह उठकर दैनिक क्रियाओं से निवृत्त होकर भगवान शिव का स्मरण कर महाशिवरात्रि व्रत का संकल्प करना चाहिए । तत्पश्चात भगवान शिव का ध्यान करें मन को शांत और एकाग्रचित रखना चाहिए। ब्रह्मचारी का भाव ,स्वस्थ मन और पूरी श्रद्धा, आस्था, गरिमा के साथ मंत्रोचार से शिवलिंग की पूजा करनी चाहिए।भगवान शिव भक्तों की सच्चे मन से की गई पूजा से खुश होकर उनकी मनोकामना अवश्य पूर्ण करते हैं ।

*अभिषेक करना फलदायक*
महाशिवरात्रि के दिन अभिषेक करना बहुत ही शुभ फलदायक होता है। ऐसा माना जाता है कि इस दिन परिवारिक सुख समृद्धि संतान की प्राप्ति, यश,वैभव, मान सम्मान एवं लक्ष्मी की प्राप्ति के लिए अभिषेक करना विशेष फलदायक माना जाता है। देवों के देव महादेव बहुत दयालु हैं। ऐसे में इस दिन द्रव से पूजा करने से भगवान शिव की और अधिक कृपा प्राप्त होती है।

* सौभाग्यवृद्धि के लिए-गंगाजल
* ग्रह शांति ,लक्ष्मी प्राप्ति के लिए-गाय का दूध
* वंश वृद्धि के लिए -गाय का घृत
*मनोकामना पूर्ति के लिए-पंचामृत
*यश,वैभव प्राप्ति के लिए-गन्ने का रस
*ऐश्वर्य प्राप्ति के लिए-शहद
*भोग प्राप्ति-सुगंधित तेल
*शत्रु नाश-सरसों का तेल
से करने से भगवान शिव प्रसन्न होते हैं और भक्तों की मनोकामना पूर्ण करते हैं।
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— शम्भू पंवार

शम्भू पंवार

ब्यूरो चीफ ट्रू मीडिया, दिल्ली चिड़ावा, 8058444460 [email protected]