खुल गया स्कूल
मम्मी ! खुल गया मेरा स्कूल ।
पापा ! लेट मी गो टू स्कूल।
खेलकूद धमा-चौकड़ी केन्सिल ।
कहाँ हैं मेरी कापी किताब पेन्सिल ।
मम्मी ! मेरी यूनीफॉर्म करो तैयार ।
स्कूल कर रहा है मेरा इंतजार ।
मोजे-जूते को मैं ढूँढ़ता हूँ ।
कहाँ हैं वे , मैं ही पूछता हूँ ।
दादा के संग मैं स्कूल चला ।
वेट मी दादी ! मैं स्कूल चला ।
— टीकेश्वर सिन्हा “गब्दीवाला”