गीतिका/ग़ज़ल

ग़ज़ल

किसी इंसान का जिस दिन भरोसा टूट जाता है |
भले ठंडी हवायें हो पसीना छूट जाता है ||

घरों में आजकल रिश्ता निभाना हो गया मुश्किल |
जरा सी बात पर देखो घरौंदा फूट जाता है ||

हमें बस डर यही लगता जुदा हम हो नहीं जायें |
जिसे हम प्यार करते हों वही जब टूट जाता है ||

ग़ज़ल में “हिन्द” ने लिख दी हकीकत आज की देखो |
अगर खुद को नहीं बदलें जमाना छूट जाता है ||

बी.के. गुप्ता “हिन्द”

बी.के. गुप्ता 'हिन्द'

कवि नाम- बी.के. गुप्ता ‘हिन्द’ पूरा नाम-बृज किशोर गुप्ता पिता का नाम-श्री लक्ष्मी प्रसाद गुप्ता माता का नाम-श्रीमती ऊषा गुप्ता जन्मतिथि-1जुलाई सन्1982 व्यवसाय-कम्प्यूटर शिक्षक लेखन विधा-कविता,गजल,गीत,मुक्तक,निबंध। वर्तमान पता-कैपीटल कम्प्यूटर आई.टी.एण्ड साइन्स बड़ामलहरा ,जिला-छतरपुर म.प्र. पिन-471311 स्थाई पता-ग्राम़$पोस्ट-चन्दौरा तहसील-अजयगढ ,जिला-पन्ना(म.प्र.) पिन-488220 मोब.-9755933943 web- http://kavibkgupta.blogspot.in ई-मेल- [email protected] प्रकाशित रचनाएँ www.rachanakar.org एवं www.kavyasagar.com पर व मासिक- पत्रिकाओं पर होती रहती हैं। 51 शायरो के साझा काव्य संकलन ’’गुलदस्त ए गजल’’ मे मेरी भी गजलें शामिल सम्मान- www.kavyasagar.com द्वारा आयोजित ‘‘प्रतियोगिता कविता‘‘ ‘‘बेटी‘‘ मे उत्कृष्ट रचना प्रमाण-पत्र 26-11-2015 को आॅनलाइन जारी।