लघुकथा

लघुकथा – केरियर

मनीषा केरियर हेतु नौकरी करना चाह रही थी। कमल भी सहमत था। कमल की इच्छा थी कि बच्चों को दादाजी सम्भाल लेंगे, किन्तु मनीषा का दो टूक आदेश था, ‘‘तुम्हारे पूज्य पिताश्री लाड में बच्चों को बिगाड़ देंगे, बच्चों को होस्टल में डालने से जिम्मेदारी से मुक्ति मिलेगी। तुम्हारे पिताश्री ओल्ड एज़ होम में भजन पूजन में समय का सदुपयोग कर सकेंगे‘‘ कमल क्या कहता?

 दिलीप भाटिया

*दिलीप भाटिया

जन्म 26 दिसम्बर 1947 इंजीनियरिंग में डिप्लोमा और डिग्री, 38 वर्ष परमाणु ऊर्जा विभाग में सेवा, अवकाश प्राप्त वैज्ञानिक अधिकारी