ताजी खबर : ताजी कुंडलिया
बारिश अबकी बार कम, होने का अनुमान। बेचारे इस सोच में, बैठे मरे किसान। बैठे मरे किसान, फसल कैसे बोएंगे।
Read Moreबारिश अबकी बार कम, होने का अनुमान। बेचारे इस सोच में, बैठे मरे किसान। बैठे मरे किसान, फसल कैसे बोएंगे।
Read Moreमैगी वाला मामला, पकड़ चुका है तूल। मानव धन के सामने, भूला सभी वसूल। भूला सभी वसूल, नहीं चिंता बंदोँ
Read Moreमौका था यह आठवाँ, जब कर मन की बात। प्रकट किए गहरे तनिक, अबकी वो जज्बात। अबकी वो जज्बात, सफलता
Read Moreआया ऐसा जलजला, हिला पुनः जापान। जिसके कारण देखिए, काँपा हिंदुस्तान। काँपा हिंदुस्तान, राजधानी फिर डोली। देती प्रकृति जवाब, पाप
Read Moreअपने हिंदुस्तान में, रहें सिर्फ चुपचाप। लोकतंत्र कैसा यहाँ, इससे अच्छी खाप। इससे अच्छी खाप, जुबां पर ताला डालें। अभी
Read Moreदेखो त्रिपुरा से हटा, ‘आफस्पा’ कानून। जनता जिससे त्रस्त थी, लंबा था मजमून। लंबा था मजमून, चला है वर्ष अठारह।
Read Moreगरमी का पारा गया,सीमा को कर पार। मरे सैकड़ों आदमी,चहुँ दिश हाहाकार। चहुँ दिश हाहाकार,हाल हैं खस्ता सबके। पशु-पक्षी-इंसान,हार माने
Read Moreएक साल पूरा हुआ, सेवक बने प्रधान। बता रहें कर रैलियाँ, अपना मेगा प्लान। अपना मेगा प्लान, अभी क्या करना
Read Moreरोहित शर्मा ने किया, अबकी बड़ा कमाल। आई.पी.एल.जीतकर, जमकर हुआ धमाल। जमकर हुआ धमाल, चेन्नई की गति रोका। धोनी थे
Read Moreगुर्जर आंदोलन बड़ा, आरक्षण का नाम। रेल ट्रैक अरु हाइवे, किया उन्होंने जाम। किया उन्होंने जाम, अड़े ले माँगें
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