शीत आगमन *ताँका
चटके रिश्ते
सर्द हवा मिलते
छल – धुंध से
दिल की आग बुझी
बर्फ जमती जाती।
=
लूक सहमे
शीत का धौंस जमे
सेवंती हँसे
मादव रवि डरे
हिम को रास्ता दे दे।
चटके रिश्ते
सर्द हवा मिलते
छल – धुंध से
दिल की आग बुझी
बर्फ जमती जाती।
=
लूक सहमे
शीत का धौंस जमे
सेवंती हँसे
मादव रवि डरे
हिम को रास्ता दे दे।
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इसके कम से कम दो शब्द स्पष्ट नहीं हैं- लूक और सेवंती. कृपया स्पष्ट करें. ताँके अच्छे हैं.
लूक = गर्मी का बहुत गर्म हवा
सेवंती = गुलदाउदी जो सर्दी में ही खिलता है
बहुत बहुत धन्यवाद आपका ….
क्षमा प्रार्थी हूँ …जबाब देने में देरी हुई ….
sundar rachana
बहुत बहुत धन्यवाद
बहुत अच्छी .
आभारी हूँ ….. बहुत बहुत धन्यवाद आपका
सुन्दर …दी 🙂
स्नेहाशीष बच्ची …..