मोहन मुरलीवाले, मोहन मुरलीवाले
श्री कृष्ण जन्माष्टमी पर एक कृष्ण-भजन
मनमोहन ने मोह लिया मन, बन गए सबके प्यारे
आज जन्मदिन मोहन का है, बरसेंगे रस-धारे-
मोहन मुरलीवाले, मोहन मुरलीवाले (2)
1.देवकी मां ने जन्म दिया, यशोमति ने उनको पाला
वसुदेव-नंदन होकर भी कहलाए वे नंदलाला-
मोहन मुरलीवाले, मोहन मुरलीवाले (2)
2.शीश पे उनके मोरमुकुट है, गल वैजंतीमाला
कानों में मकराकृत कुंडल, सुंदर नैन विशाला-
मोहन मुरलीवाले, मोहन मुरलीवाले (2)
3.हाथ में लेके एक लकुटिया, मोहन धेनु चराएं
वंशी के मधुरिम सुर छेड़ें, सबको मस्त बनाएं-
मोहन मुरलीवाले, मोहन मुरलीवाले (2)
4.क्रांतिदूत भी बनकर आए, शांतिदूत बन आए
हर पल रहना कर्मवीर हो, यह संदेशा लाए-
मोहन मुरलीवाले, मोहन मुरलीवाले (2)
5.जो भी इनकी शरण में आएं, उनके काज संवरते
इनसे शक्ति पाकर हर-पल, जीवन में वे संभलते-
मोहन मुरलीवाले, मोहन मुरलीवाले (2)
अतिउत्तम, सुन्दर भजन के लिए आभार
श्रद्धेय बहनजी ! बहुत ही बढ़िया भजन जो श्री कृष्ण जन्माष्टमी के पावन अवसर पर प्रासंगिक है । अंतरात्मा को शुद्ध कर देनेवाली पावन रचना के लिये आपका ह्रदय से धन्यवाद ।
प्रिय राजकुमार भाई जी, श्री कृष्ण जन्माष्टमी की हार्दिक शुभकामनाएं. सटीक एवं सार्थक प्रतिक्रिया के लिए शुक्रिया.
बहन जी प्रणाम बहुत बढ़िया भजन
बहन जी प्रणाम बहुत बढ़िया भजन
प्रिय राजकिशोर भाई जी, सटीक एवं सार्थक प्रतिक्रिया के लिए शुक्रिया.
प्रिय राजकिशोर भाई जी, सटीक एवं सार्थक प्रतिक्रिया के लिए शुक्रिया.
बहुत सुन्दर मनमोहक भजन ,लगता है किसी मंदिर में भजन मंडली गा रही हो .
प्रिय गुरमैल भाई जी, यह भजन मंदिर में भजन मंडली के गाने के लिए ही आज बनाया है. इसकी धुन भी बहुत अच्छी है. सटीक एवं सार्थक प्रतिक्रिया के लिए शुक्रिया.