गीतिका/ग़ज़ल

जो बिताया फ़जूल में…

जो बिताया फ़जूल में हिसाब माँगेगा
वक्त हर हाल एक दिन जवाब माँगेगा

इस जमानें को सिर्फ ख़ार ही दिये जिसने
क्या भला वो जहान से गुलाब माँगेगा

आप जिस दिन नकाब को उतार कर निकले
देखना चाँद आप से शबाब माँगेगा

हर किसी को तलाश अम्न चैन की ही है
कौन रब से जहान में अज़ाब माँगेगा

ईश्क का जाम ही कभी नही पिया जिसने
हुस्न के हाथ से वही शराब माँगेगा

सतीश बंसल
१२.११.२०१७

*सतीश बंसल

पिता का नाम : श्री श्री निवास बंसल जन्म स्थान : ग्राम- घिटौरा, जिला - बागपत (उत्तर प्रदेश) वर्तमान निवास : पंडितवाडी, देहरादून फोन : 09368463261 जन्म तिथि : 02-09-1968 : B.A 1990 CCS University Meerut (UP) लेखन : हिन्दी कविता एवं गीत प्रकाशित पुस्तकें : " गुनगुनांने लगीं खामोशियां" "चलो गुनगुनाएँ" , "कवि नही हूँ मैं", "संस्कार के दीप" एवं "रोशनी के लिए" विषय : सभी सामाजिक, राजनैतिक, सामयिक, बेटी बचाव, गौ हत्या, प्रकृति, पारिवारिक रिश्ते , आध्यात्मिक, देश भक्ति, वीर रस एवं प्रेम गीत.