संवैधानिक दायित्वों को गिरवी रखने वाले लोग..
संवैधानिक दायित्वों को गिरवी रखने वाले लोग
उजले कपड़ों में देखें हैं हमने मन के काले लोग
खूब अदाकारी है उनकी बातें लच्छेदार बहुत
उनके छल में आ जाते हैं देखो भोले भाले लोग
मंजिल पाने को तूफ़ां से टकरा जाया करते हैं
मुश्किल से कब हारे कहिये सच्चाई के पाले लोग
हद से गुज़री उनकी करतूतें तो सारे बोल पड़े
आख़िर कब तक रहते होटो पर लटकाकर ताले लोग
सत्ता जितनी ताकत झोंके चाहे जितना जुल्म करे
सच को लेकिन सच कहते हैं हर हालत दिल वाले लोग
कुछ तो सोचो कुछ तो समझो कुछ तो फर्ज निभाओ तुम
कितने दिन जयकार करेंगे झूठे सपने पाले लोग
अपनी किस्मत पर इतना ज़्यादा इतराना ठीक नही
फर्श दिखा देंगे वोटों से तुझको बैठे ठाले लोग
सतीश बंसल
१९.०५.२०१८