तेरी जब याद आती है
तेरी जब याद आती है तो दिल रोता बिलखता है
तेरी तस्वीर देखे तो ये पागल सा मचलता है,
तेरी यादों केे घेरे ने ये डाले कैसे हैं बंधन
दिवाना था दिवाना है ये गिरता और संभलता है,
तेरी जब याद आती है तो दिल रोता बिलखता है।
ज़माने से न पूछों अब की कैसी है मेरी हालत
बड़ा महगा पड़ा मुझको तेरे इस इश्क़ की आदत,
जमाना भूल बैठा अब न जाता हूँ कहीं पर मै
कंहा था मै कंहा अब आ गया मालुम न पड़ता है,
तेरी जब याद आती है तो दिल रोता बिलखता है।
मगर तस्वीर को तेरी जला कर राख कर आया
तेरी यादों को तो देखो समंदर मे बहा आया,
तेरे वादे भी थे झूंठे और तू भी थी हरजाई
कसम खा खा मेरा ये दिल तेरी यादों मे मरता है,
तेरी जब याद आती है तो दिल रोता बिलखता है।
प्रशांत मिश्रा
प्रयागराज उ.प्र.
7052107885