नव वर्ष मुबारक हो !!!!
1.कामयाबी की दुआ
जैसे, जिस हाल में उसने रखा है,
खुश रहने की कोशिश करता हूं,
धीरे-धीरे ही सही
आगे बढ़ते रहने की कोशिश करता हूं,
जो जिस स्वभाव का है,
उसे वैसा ही स्वीकारने की कोशिश करता हूं,
नए साल में सबको मिलें खुशियां अपार,
आगे बढ़ते रहने की कोशिश करता हूं,
जो जिस स्वभाव का है,
उसे वैसा ही स्वीकारने की कोशिश करता हूं,
नए साल में सबको मिलें खुशियां अपार,
सबके लिए कामयाबी की दुआ करता हूं.
नमस्ते जी। आज आपकी रचना पढ़ी। आज बहुत दिनों बाद आपकी कोई रचना देखने का दिल हुआ तो आपके नाम से सर्च करके इस रचना को देखा। आशा करता हूँ कि आप स्वस्थ होंगे। आपके सुखी व स्वस्थ जीवन की कामना करता हूँ। आपके शब्द दिल को छूने वाले हैं। सादर।
धन्यवाद मनमोहन जी . बहुत देर बाद आज आप के कलम दर्शन हुए . कोशिश करूँगा कि जय विजय में फिर से आप के लेख पढूं क्योंकि आप के लेखों में बहुत कुछ मिलता है . अप अस्वस्थ रहें , यही कामना है .
प्रिय गुरमैल भाई जी, नए साल की छोटी-सी, प्यारी-सी आपकी कविता बहुत अच्छी लगी. मेहनत हो, लगन हो और कामयाबी की दुआ भी मिल जाए, तो फिर शिखर तक पहुंचने में तनिक भी देर नहीं लगती. आपको नए वर्ष की हार्दिक बधाइयां व शुभकामनाएं. सटीक व सार्थक रचना के लिए बधाई व आभार.