शरद ऋतु
निर्मल आकाश व सुनहली धूप
शरद ऋतु का अति सुन्दर रूप
आश्विन- कार्तिक करते सुसज्जित
सरोवर कमलों से होते सुशोभित
कुमुद और मालती के फूल वनों में
चन्द्रमा की चांदनी बिखेरे प्रेम मनों में
पंकजों पर भ्रमर का बैठना जैसे
पक्षियों का कलरव मधुर लगे ऐसे
श्वेत वर्ण मेघ युक्त है ये नभ
मन मोह ले शिशिर ऋतु तब
शीत ऋतु की निशा सुहावनी
सर्द पवन लागे मनभावनी