दुश्मन का दिल धड़का
वर्दी पहन के टोपी तान के, कदम फौलादी बढ़ता।
हिंद देश के वीर देख के, दुश्मन का दिल धड़का।
राफेल, अर्जुन, नाग मिसाइल, हैं हमारे खिलौने।
पत्थर कांटों की धरती है, फूल से नरम बिछौने।
मिल जुल भाई भाई रहते, मन की बात बतियाते।
अम्मा बाबा पत्नी बेटी, जब जब याद हैं आते।
भूख में पानी छोले खा के, पेट में लगता तड़का।
वर्दी पहन के टोपी तान के, कदम फौलादी बढ़ता।
हिंद देश के वीर देख के, दुश्मन का दिल धड़का।
भारत देश के हम सिपाही, आंच न आने देंगे।
चप्पा चप्पा इस माटी का, कभी न जाने देंगे।
दुश्मन सरहद लांघ न पाए, मुस्तैद हमारी आँखें।
सिरकलम दुश्मन का करदें, दम भरती हैं सांसें।
मौत के घाट है उतारा, जब भी दुश्मन रड़का।
वर्दी पहन के टोपी तान के, कदम फौलादी बढ़ता।
हिंद देश के वीर देख के, दुश्मन का दिल धड़का।
अब की बार जंग हुई तो, नया इतिहास रचेगा।
भारत के तिरंगे के नीचे, विश्व आ कर बसेगा।
मिटेगा अस्तित्व वैरी का, अमन का डंका बजेगा।
विश्व गुरु भारत के सिर पर, नया ताज सजेगा।
नाचेगा झूमेगा हर वासी, बाँध अमन का पटका।
वर्दी पहन के टोपी तान के, कदम फौलादी बढ़ता।
हिंद देश के वीर देख के, दुश्मन का दिल धड़का।
— शिव सन्याल