चोका : बरसों बाद
बरसों बाद मेरे मन आँगन महका प्यार, झूम उठा आसमाँ, खिला संसार। मन की कलियाँ भी खिलने लगी, चेहरे पे
Read Moreबरसों बाद मेरे मन आँगन महका प्यार, झूम उठा आसमाँ, खिला संसार। मन की कलियाँ भी खिलने लगी, चेहरे पे
Read Moreमेरी मुलाकात एक रूह से हुई एक पवित्र और सच्ची रूह से मैंने देखा उसको तड़फते हुये और भटकते हुये
Read Moreअब ये दुनिया नहीं है भाती तभी तुम्हें लिक्खी है पाती। खून-खराबा है गलियों में, छिपे हुए हैं बम कलियों
Read More1-चूहे भाई ढूँढ़ कहीं से लाए रजाई छिपकर बैठे चूहे भाई। बाहर गिरे बर्फ़ के गोले, मुश्किल से थी जान
Read Moreग्लेशियर को कहते हैं वो बढ़ाता है मान घाटियों का फिर नदी का फिर समुद्र का पर क्या कभी किसी
Read Moreअभी भरे भी नहीं थे पुराने जख्म कि नयों ने रास्ता बना लिया हम यही सोचकर उनको छिपाते रहे कि
Read More1-उमड़-घुमड़ कर आते बादल उमड़-घुमड़ कर आते बादल मुझे बहुत भाते हैं बादल। कभी बजाते ढोल मंजीरे कभी चमक
Read Moreडॉ भावना कुँअर 1 याद ही तो थी पायल- सी छनकी चूडियों- सी खनकी बरखा आई बिजली की धुन पे
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