मेरी बेटी रुचि
आज मीता बहुत खुश थी। खुशियां पिघल कर दो नैनों की धार बन गई थी। नाचने का मन कर रहा
Read Moreआज मीता बहुत खुश थी। खुशियां पिघल कर दो नैनों की धार बन गई थी। नाचने का मन कर रहा
Read Moreरोप रहा था फलों के पौधें खेत में अपने बृद्ध किसान, उधर से ही गुजर रहा था एक हट्टा- कट्टा
Read Moreजिसके मन में हो हौसला, डरे ना वह देखकर फासला। चाहे जितनी दूर हो मंजिल, कर ही लेता है वह
Read More“फिर एक बेटी को जन्म दिया, मुंह जली, करम जली ने। मैं तो लुट गई, बर्बाद हो गई। मेरे जीतू
Read Moreमैं क्या हूँ, कहां हूँ मेरी बात न पूछिए एक अदद इंसां हूँ ज़मीं पर मेरी जात न पूछिए ।
Read Moreआया है नववर्ष पुनः लेकर सपनों का भंडार, मन गागर भर उमंग छलकाए खुशियां अपार। चहूँ दिशा से बह रही
Read Moreआज फिर कांप उठी धरती देख वह हृदय विदारक दृश्य, अबोध बालिका शिकार हुई हाथ, नर पिशाच,निरा अस्पृश्य। सुन बालिका
Read More