हर हर गंगे
कल-कल कल-कल बहती मातु श्री गंगे,उत्तुंग शिखर से लहराती आई प्राण तरंगे,देवी भागीरथी माता अति पतित पावनी,जय जय जय विष्णु
Read Moreकल-कल कल-कल बहती मातु श्री गंगे,उत्तुंग शिखर से लहराती आई प्राण तरंगे,देवी भागीरथी माता अति पतित पावनी,जय जय जय विष्णु
Read Moreमैं यूं ही कविताएं रचती जाऊंगी,“आनंद” भाव हर मन में जगाऊंगी,सरल,सहज शब्दों की माला बना कर,प्रेम भाव जन-जन तक पहुंचाऊंगी
Read Moreपर्व सुहाना आया है बहुत खास,जन-जन में छाया हर्षोउल्लास,नाम अनेक अद्वितीय है महत्ता,दसों दिशाओं में ईश्वर की सत्ता । भक्ति
Read Moreप्रयागराज में छाई अनुपम अद्वितीय बहार,पा लो पवित्रता की “आनंद” दिव्यतम धार,शुरू होने वाला है विशेष महाकुंभ स्नान,कर लो चितमन
Read Moreइन सुंदर प्रेम लफ्जों में पिरोदूं तुम्हें,“आनंद” संगीत सुमधुर गुनगुनाऊं,तुम्हारे चाहत की सच्ची प्रीत पिया,ये प्यारा बंधन खुशी से मैं
Read Moreजो जितना साथ चला उसका उतना ही धन्यवाद,जो ईष्या से जला उसका भी उतना ही धन्यवाद,जिन्होनें दी शुभकामनाएं उनको भी
Read Moreविशाल वसुंधरा का ये सुंदर आंगन,पर्वत ऊंचे, खनिज लवण रतन धन,नदियां, झरने, झीलें, कहीं रेगिस्तान,कहीं गहरे समुद्र कहीं सघन मधुबन
Read Moreशांति, सौम्यता, सौहार्द का सुंदर तिलक कर भाल,आओ जगाएं दिलों में प्रेम अग्नि की दिव्य मशाल,करें स्वागत वर्ष 2025 का
Read Moreगरीब झोपड़ियों में बसी है दर्द भरी तन्हाई,सर्दी से बचने के लिए नहीं है एक भी रजाई,जीवन जीने की अंतहीन
Read More