कहानी- नन्ही परी की जीत
रात के बारह बज रहे थे और वह नन्ही परी से जी खोलकर बतिया रही थी। सुन आज तू पूरे
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Read Moreक्या पाया जड़ों से कट कर क्या पाया गांवों से हट कर भूखे बच्चे तड़प रहे हैं बूंद-बूंद को तरस
Read Moreकल मुंशी जी की चोरूमल और चोरीलाल से मुलाकात हो गई। बेचारे बड़े परेशान लग रहे थे। सूखकर कांटा हो
Read Moreकामाख्या, देवी या शक्ति के प्रधान नामों में से एक नाम है। यह तांत्रिक देवी हैं और काली तथा ‘त्रिपुर सुन्दरी’ के साथ इनका निकट समबन्ध है। इनकी
Read Moreशीला आज उम्र के पचासवें पढ़ाव पर आकर अपनी दादी माँ को बहुत याद करती है। जिसका मुख्य कारण यह
Read Moreमहीने के अंतिम रविवार को अक्सर मैं मोरान के शिवालिक वृद्धाश्रम में जाती हूँ और वहां रह रहे माता-पिता के
Read Moreये जीत नहीं कुछ लोगों की यह भारत की जीत है। कुकर्मों के कुठाराघात पर निष्काम कर्म की जीत है।
Read Moreकेवल लक्ष्य ध्यान में तीर निशाने पर होगा तेल में देख आँख मत्स्य की अर्जुन सम धनुर्धर होगा लक्ष्य ऊँचा
Read Moreयह दौड़ जिंदगी की शतरंज का खेल है स्याह और सफेद सुख-दुख का मेल है यह फौज दुश्मनों की मोहरों
Read Moreअंगुली में लपेटे धागों से नचा रहा मैं हर प्राणी को महलों में स्वप्न दिखाता कभी झोंपड़ी में तड़पता राजा
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