गीतिका/ग़ज़ल

ग़ज़ल : बेगाना ….

अपने ही घर में बेगाना ठहरा दिया

दिल पर ये लगा कैसा पहरा दिया ||

जिन्हें चाहा है जान से भी ज्यादा

उन्होंने ने ही जख्म ये गहरा दिया ||

आँचल से ढलका था दुपट्टा उनका

हवा में बड़े  ही प्यार से लहरा दिया ||

हसीं वादियों में जा खाई कसमे यूँ

मानो प्यार का परचम फहरा दिया ||

“दिनेश “

दिनेश दवे

नाम : दिनेश दवे पिता का नाम :श्री बालकृष्ण दवे शैक्षणिक योग्यता : बी . ई . मैकेनिकल ,एम .बी.ए. लेखन : विगत चार पांच वर्ष से , साँझा प्रकाशन पता : दिनेश दवे , केमिकल स्टाफ कॉलोनी ,बिरलाग्राम, नागदा जिला उज्जैन ..456331..मध्य प्रदेश