दिल जब भी मचलता है हमारा – आप से मिलने के लिये
ख़्यालों की दुनिया में हम कहीं – दूर निकल जाते हैं हम
दर्द उठने लगता है सीने में -आँसू भर आते आँखों में
ना कुछ भी जानते हूए बे साख़्ता – ग़ज़ल लिखने लगते हैं हम
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इश्क़ जब से हूआ है हम को – आप से इस ज़िन्दगी में
तम्हाई में भी लुत्फ़ ज़िन्दगी का – उठाने लगे हैं हम
ख़ुशियाँ ही ख़ुशियाँ भर गैई हैं – हमारी ज़िन्दगी में
ख़्यालों की ऐक नई दुनयाा – बसाने लगे हैं हम
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शिधत के साथ साथ – सचाई भी ज़रूरी है मुहब्बत में
ढर होता नही कोई चरागों को – भुझने का तेज़ वाओं में
क्या गिराएं गी यह बिजलियाँ – मेरे इस आशियाने को
सितारे भी आब तो दिन में -आसमान मे दिखाने लगे हैं हम
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किरपा बुहत है हम पर परमात्मा की – बे सहारा नही हैं हम
भूले भाले रिश्तों को फिर से – निभाने लगे हैं हम
हैवानियत इस दुनिया की कहीं – जला ही ना दे इस दुनिया ही को
मतलबी अैसे लोगों से दामन – अपना बचाने लगे हैं हम
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प्यार तो एक मौसम है- बहारों का इस वुनया में
सोच अैसी ले कर झेला है – इसे ज़िन्दगी में हम ने
अहसास मुहब्बत के तो – पिघला देते हैं पत्थरों को भी
फिर भी बदलते मौसम की तराह – बदले नही हैं हम
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नशे में उन की मुहब्बत में ढ़ूबे – हूऐ तो हैं हम मदन
लडखडाते तो हैं क़दम हमारे – फिर भी संभल जाते हैं हम
ख़्याल उन की बे वफ़ाई के- आते तो हैं हमारे मन में
अश्कों को अपनी आँखों से – रुख़सारों पर गिरने देते नही हम