वे कह रहे हैं
चोर है डाकू है
स्मगलर है
पहचान छिपाकर
हुलिया बदलकर छेड़ता है लड़कियां
गैर मजहबी…
कट्टा निकालता है
छूरा -पत्थर सब चलाता है
वे कह रहे हैं शक मत करो
आदमी भी है और सेक्यूलर भी…
उनके लिए आदमी का मतलब
दो टांग और काम उटपटांग…
— मोती प्रसाद साहू