जीवन का आधार
भाई अगर निभा रहा, फर्ज सभी हर बार
समझो उसकी संगिनी, पूजन की हकदार
जो नारी ससुराल को, देती मान अपार
उसका गौरव गूँजता, फैले सुख संसार
संबल पति का जो बने, दे सबको अधिकार
ऐसी नारी पूज्य है, सदा करे उद्धार
बाँधे जो परिवार को, स्नेह सुधा से लीप
सौरभ ऐसी नारियाँ, कुल को रखे समीप
जो ना रोके धर्म पथ, करे नहीं व्यवधान
ऐसी देवी संगिनी, वंदन उसको मान
स्वार्थ बिना जो साथ दे, रखे स्नेह संवार
ऐसी नारी धन्य है, जीवन का आधार
सँग पति जो बाँट ले, सुख-दुःख का हर घाव
ऐसी देवी के बिना, लगे अधूरे चाव
जो नारी हर दुख सहे, रखे सदा संतोष
उसका जीवन फूल सा, भरते सुख के कोष
दे पति को हौसला, सास-ससुर को मान
ऐसी नारी पूज्य है, सबका करे कल्याण
जो अपने कर्तव्य को, समझे धर्म महान
ऐसी नारी से बने, रोशन ये जहान
जो ससुराल संवारती, रिश्तों को दे जान
ऐसी नारी से बढ़े, कुल का गौरव गान
— प्रियंका सौरभ