प्रेम प्रभु का वरदान है
प्रेम मन की आशा है,
करता दूर निराशा है.
चन्द शब्दों में कहें तो,
प्रेम जीवन की परिभाषा है.
प्रेम से ही सुमन महकते हैं,
प्रेम से ही पक्षी चहकते हैं,
चन्द शब्दों में कहें तो,
प्रेम से सूरज-चांद-तारे चमकते हैं,
प्रेम शीतल-मंद-सुवासित बयार है,
ऋतुओं में बसंत बहार है,
चन्द शब्दों में कहें तो,
प्रेम आनंद का आधार है.
प्रेम हमारी आन है,
प्रेम देश की शान है,
चन्द शब्दों में कहें तो,
प्रेम प्रभु का वरदान है.
लेखक के उत्तम विचार।
अशर्फी भाई, ब्लॉग का संज्ञान लेने, इतने त्वरित, सार्थक व हार्दिक कामेंट के लिए आपका हार्दिक अभिनंदन.