कविता
युद्ध….तीर कमान सेमिसाईलों तक के सफर तक बेशकआदमी ने कई मील पत्थरलांघ लिए हैपरंतु अपने वर्चस्व की स्थापना की चाहतआदिमानव
Read Moreसाच पास पीर पंजाल पर्वत श्रृंखला के बीच पांगी घाटी में प्रवेश के लिए एक दर्रा है। यह समुद्र तल
Read Moreपहाड़ों में जीने के लिए पहाड़ होना पड़ता है। जिस तरह पहाड़ धूप- छांव को सहते हुए हमेशा अपनी पीठ
Read Moreसाहित्यकार समाज के दुख को महसूस करके अपनी रचनाओं में उतारता है : अशोक दर्द“लेखक से मिलिए” की 126वीं कड़ी
Read Moreमोहन रोज घर से कार्यालय तक का लगभग बीस किलोमीटर का सफर बस द्वारा तय करता था । पिछले दो
Read Moreपहला दृश्य :क्रूर सिंह फौज में ड्राइवर था । एक दिन रात को खाना खाकर वापस आ रहा था। आज
Read Moreशहर के नेता नरेश भान ने शाम को अपने दोनों बेटों को बुलाकर कहा-” कल के बंद की अगुवाई करने
Read Moreघर में पिछले दिन से न आटा था और न ही कुछ और था खाने के लिए । मुफलिसी के
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