गाय
मां सबकी कहलाने वाली, गाय बड़ी है भोली-भाली, चाहे जो भी घास-फूस दो, चुपके-से है खाने वाली. बछड़ा देख खुशी
Read Moreलिली का मैं फूल हूं, कीप के जैसा दिखता हूं, अपनी सुगंध, सुंदरता के चर्चे, मैं नित सुनता रहता हूं.
Read Moreप्रॉमिस डे आज आया है, वादा मुझे भी करना है, छोटा बच्चा हूं तो फिर क्या! सबके दुःख को हरना
Read More