कविता

सुबह की पहली किरण

सुबह की पहली किरण ,
हमे नई रोशनी है दिखती ,
जीवन की नई रास्ता है दिखती ,
मन और तन मे नई जोश जगाती ,
जीवन को नई उजाला दिखलाती ,
मन को उमंगो से भर जाती ,
सुबह की पहली किरण ,
नई लक्ष्य दिखाती ,
नई रंग और नई रुप दिखाती ,
नई कल्पनाओ से हमे अवगत कराती ,
नई अस्तित्व में नये आयाम लाती ,
नई पीढ़ी को नया ज्ञान देती ,
सुबह की पहली किरण ,
नई प्यार और आशीर्वाद देती ,
हमे जीवन सिखने का अवसर प्रदान कराती ,
दिल और हृदय को मेल कराती ,
नई दुनिया और दुनियादारी सिखाती ,
नई रोशनी और नई दिपक से उजाले कराती ,
सुबह की पहली किरण ,
मेरी अरमानो को नई अनुभूतियाँ देती ,
नई खुशियाँ और नई हस्तियाँ पैदा कराती ,
जीवन के राहो से मेरे काँटो को हटाती ,
मेरी मातृभूमि की रक्षा कराती ,
मेरी मंजिलो से हमे अवगत कराती ,
सुबह की पहली किरण ,
नई पशुओ और नई पंक्षियो का गान सुनाती ,
जीवन के सुनापन को मिटाती ,
शिक्षा और संस्कार की ओर हमे बढाती ,
संसार मे एक दर्शन का जोत जगाती ,
हमे अंधेरो से रोशनी की ओर ले जाती ,
सुबह की पहली किरण !
— रुपेश कुमार

रूपेश कुमार

भौतिक विज्ञान छात्र एव युवा साहित्यकार जन्म - 10/05/1991 शिक्षा - स्नाकोतर भौतिकी , इसाई धर्म(डीपलोमा) , ए.डी.सी.ए (कम्युटर),बी.एड(फिजिकल साइंस) वर्तमान-प्रतियोगिता परीक्षा की तैयारी ! प्रकाशित पुस्तक ~ *"मेरी कलम रो रही है", "कैसें बताऊँ तुझे", "मेरा भी आसमान नीला होगा", "मैं सड़क का खिलाड़ी हूँ" *(एकल संग्रह) एव अनेकों साझा संग्रह, एक अंग्रेजी मे ! विभिन्न राष्ट्रीय पत्र-पत्रिकाओ मे सैकड़ो से अधिक कविता,कहानी,गजल प्रकाशित ! राष्ट्रीय साहित्यिक संस्थानों से सैकड़ो से अधिक सम्मान प्राप्त ! सदस्य ~ भारतीय ज्ञानपीठ (आजीवन सदस्य) पता ~ ग्राम ~ चैनपुर  पोस्ट -चैनपुर, जिला - सीवान  पिन - 841203 (बिहार) What apps ~ 9934963293 E-mail - - [email protected]