कविता

श्री कृष्ण जन्मोत्सव

 

भगवद्गीता के अलौकिक ज्ञान के

दुनिया को प्रकाशित करने वाले

बिन फल की इच्छा किए

कर्म को प्रधान बताने वाले

भेद भाव से दूर, न राजा रंक का भाव

मित्रता सुदामा से निभाने वाले

जन्म से जो विपत्तियों का

सामना जो करते रहे,

सर्वव्यापी, सर्व सुलभ, नीति निपुण

अधरों पर मधुर मुस्कान धारि

राधा के निश्छल प्रेम में

त्याग और पवित्रता के पुरोधा

नटखट, माखनचोर, मुरलीधर श्रीकृष्ण का

जन्मोत्सव आज है,

जन जन में श्रीकृष्ण जन्मोत्सव का छाया खुमार है।

बह रही श्रीकृष्ण जन्मोत्सव की बयार है,

श्रीकृष्ण के प्रकटोतसव का हमें ही नहीं

हमको, आपको, सबको ही इंतज़ार है,

क्योंकि राधे कृष्ण,गिरधर गोपाल, नंदलाल के

जन्म का पल जैसे जैसे करीब आ रहा है

बढ़ती बेकरारी संग उल्लास भी बढ़ रहा है,

आखिर मुरलीधर, गीता के उपदेशक

सुदर्शन चक्रधारी का जन्मोत्सव जो आज है।

दे रहे हैं सब एक दूजे को बधाइयां

बांट रहे जन्माष्टमी की खुशियां

खुशी खुशी आज सबको बता रहे हैं

हमारे कृष्ण कन्हैया का जन्मोत्सव आज है।

 

*सुधीर श्रीवास्तव

शिवनगर, इमिलिया गुरूदयाल, बड़गाँव, गोण्डा, उ.प्र.,271002 व्हाट्सएप मो.-8115285921