महक उठे जग सारा
नदियों सी मैं बहती जाऊं। घाट-घाट से कहती जाऊँ। बिना थके, बिना रुके हरदम, हर सीमा को तोड़ दिखाऊं।। उजले-उजले
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Read Moreदेश को 15 अगस्त 1947 को आजादी मिली और तिरंगा नीले आसमान में गौरव से लहराया। हमारा संविधान 26 जनवरी
Read Moreबात पते की सुन लो बच्चो जब भी खेलो मिलकर खेलो। जब भी बोलो हंसकर बोलो, बातों में मिसरी सी
Read Moreयत्र नार्यस्तु पूज्यन्ते रमन्ते तत्र देवताः । यत्रैतास्तु न पूज्यन्ते सर्वास्तत्राफलाः। एक औरत जिसे मर्यादा , प्रतिष्ठा, गरिमा , महिमा
Read Moreप्यार-दुलार, संस्कार है देते, वो शिक्षक कहलाते हैं। अंत:शक्ति जगा, देते आकार, वो शिक्षक कहलाते हैं।। अज्ञानी मन को तपा-तपा,
Read Moreछवि और अवि में अच्छी दोस्ती थी। दोनों एक दूसरे से कोई बात नहीं छुपाती। एक ही कॉलेज में होने
Read Moreबात पते की सुन लो बच्चो जब भी खेलो मिलकर खेलो। जब भी बोलो हंसकर बोलो, बातों में मिसरी सी
Read Moreदिव्या, हीरा ,आभा , तीनों मित्र थीं। साथ साथ पढ़ती खेलती ।एक नहीं आती तो दूसरी उसे बुलाने पहुंच जाती।
Read Moreहम बच्चे फिर स्कूल चलेंगे। उम्मीदें नव झूल चलेंगे। मीत बनेंगे प्यारे-प्यारे, हस्ते- गाते रोज़ मिलेंगे । खेलेंगे हम खूब
Read Moreनींद आँखों में इस क़दर, ले आती ख़वाब बे हिसाब । कभी नदियाँ, कभी झरने, कभी देखूँ सुंदर बाग, फूल
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