गीतिका/ग़ज़ल धर्म पाण्डेय 27/05/2016 ग़ज़ल प्यार की राह मुश्किल भले । दिल लगाने चले दिलजले । जिंदगी बोझ बन जाती है । टूट जाते Read More
गीतिका/ग़ज़ल धर्म पाण्डेय 21/05/2016 ग़ज़ल हमारे दर्दे दिल की अब दवा कोई नहीं करता। वफ़ा की बात करते सब वफ़ा कोई नहीं करता । Read More
गीतिका/ग़ज़ल धर्म पाण्डेय 17/05/2016 ग़ज़ल टूटती झोंपड़ी पर गिरी बिजलियाँ शोर में गुम हुई दर्द की सिसकियाँ । याद इतना न मुझको किया कीजिये Read More
गीतिका/ग़ज़ल धर्म पाण्डेय 26/04/2016 ग़ज़ल जो पास मेरे थे वो बहुत दूर हो गए । जिसको भी चाहा हमने वो मगरूर हो गए । Read More
गीतिका/ग़ज़ल धर्म पाण्डेय 26/04/2016 ग़ज़ल प्यार की राहों में जब पागल दिवाना आ गया । हाथ में पत्थर लिये सारा जमाना आ गया सख्त Read More
गीतिका/ग़ज़ल धर्म पाण्डेय 26/04/2016 गीतिका फूल के साथ क्यूँ मिल रहा खार है । जीतना चाहता मिल रही हार है । मोल रिश्तों का Read More
गीतिका/ग़ज़ल धर्म पाण्डेय 15/04/2016 ग़ज़ल हर जगह वाह वाह मत कीजै खुद को खुद से तबाह मत कीजै। ठोकरें गर लिखा मुकद्दर में । Read More
गीतिका/ग़ज़ल धर्म पाण्डेय 12/04/2016 ग़ज़ल नया रिश्ता बनाया जा रहा है मुझे फिर आजमाया जा रहा है । मुहब्बत हो गई मुझसे किसी को Read More
गीतिका/ग़ज़ल धर्म पाण्डेय 04/04/2016 ग़ज़ल किसी की आँख का तारा रहा हूँ । जमाने में बहुत प्यारा रहा हूँ । जमीरों का नहीं सौदा Read More
गीतिका/ग़ज़ल धर्म पाण्डेय 02/04/201602/04/2016 ग़ज़ल रस्मे उल्फ़त है इसे प्यार न समझा जाए । मेरे इनकार को इकरार न समझा जाए । आँख से Read More