गिर रही है आँख से शबनम तुम्हारे हिज़्र में
गिर रही है आँख से शबनम तुम्हारे हिज़्र में एक ही बस एक ही मौसम तुम्हारे हिज़्र में क़तरे-क़तरे में
Read Moreगिर रही है आँख से शबनम तुम्हारे हिज़्र में एक ही बस एक ही मौसम तुम्हारे हिज़्र में क़तरे-क़तरे में
Read Moreझरते तुम्हारी आँख से जानम नमी के फूल, खिलने लगे हैं दिल में मेरे तिश्नगी के फूल भटके न राहगीर
Read Moreअपनी आंखों से मुहब्बत का बयाना कर दे नाम पे मेरे ये अनमोल खज़ाना कर दे सिमटा रहता है किसी
Read Moreइन्कार नहीं होता इकरार नहीं होता कुछ भी तो यहाँ दिल के अनुसार नहीं होता लेगी मेरी मोहब्बत अंगड़ाई
Read Moreभला है बुरा है, है अपनी जगह मेरा फ़ैसला है, है अपनी जगह ज़माना भले बेवफ़ा हो मगर अभी भी
Read Moreमिरे वज़ूद को दिल का जो घर दिया तूने इश्क़ की राह को आसान कर दिया तूने ख़लिश मैं ओस
Read Moreयूँ मुसलसल ज़िन्दगी से मसख़री करते रहे ज़िन्दगी भर आरज़ू-ए-ज़िन्दगी करते रहे एक मुद्दत से हक़ीक़त में नहीं आये यहाँ
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