कविता
खुशियाँ बेशक बाँटी जाती हों – दिलों को लुभाने के लिये गम इन में शामल हो ही जाते हैं आप
Read Moreफ़ुरसत ही जब नही मिलती – दुनियावी मजबूरियों से तो सोचूं किस तरा से मैं – अपने आप ही के
Read Moreख़बर जब से आप के -आने की आई है ख़ुशी बुहत सारी – छा गैई हमारे दिल में यादों में
Read Moreमिलना ख़ुशी का ज़िन्दगी में – बे शक ना हो इनसान के हाथ में मगर ख़ुशी से बिताना ज़िन्दगी को
Read Moreछुपा लेना दिल के दर्द को सीने में काम यिह कोई आसान नही होता मुसकराना छुपा कर अपने ग़मों को
Read Moreबदलते ही आप के – बदल गैए तौर त़रीके भी ज़िनदगी के रहे ना हम ज़मीन के – ना ही
Read Moreमिलाई हैं नज़रें – तो दिल अब दुखाना नही है मोहब्बत सची है हमारी – कोई दिल लगी नही है
Read Moreफ़ायदा उठाना किसी की मजबूरी का – अछी बात नही है हंसी उडाना किसी की बे बसीका – अछी बात
Read Moreवोह कहते हैं – वापस मुझे ही आना पडे गा नाराज़ हैं वोह – अब मुझे ही मनाना पडेगा यादों
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