रोम रोम में राम बसे हैं, धड़कन-धड़कन गीत…
रोम रोम में राम बसे हैं, धड़कन-धड़कन गीत। हमको तो ये सारी दुनिया, लगती है मनमीत।। ज़िन्दगी प्रीत प्रीत बस
Read Moreरोम रोम में राम बसे हैं, धड़कन-धड़कन गीत। हमको तो ये सारी दुनिया, लगती है मनमीत।। ज़िन्दगी प्रीत प्रीत बस
Read Moreहाथ मिले मन में अनबन है सच मानो भाई भाई का दुश्मन है सच मानो अपनो से तो ग़ैर भले
Read Moreसच्चाई का साथ निभाना ख़लता है झूठों को मेरा अफ़साना ख़लता है कहने को सब चुप हैं लेकिन लोगों को
Read Moreउनको दुनिया से ड़र कैसा जिनका मन सच्चा होता है जिनके कोई साथ नही हो उनके साथ ख़ुदा होता है
Read Moreजिन लोगों के सच्चे किरदार नही होते वे लोग यक़ीं मानो भव पार नही होते जो छोड़ हक़ीक़त को सपनों
Read Moreसाहिबे दस्तार होने चल दिए फूल भी अब ख़ार होने चल दिए यूँ बने रिश्ते तिजारत, आपसी मस’अले अख़बार होने
Read Moreसामने वो अगर नही आता चैन फिर रात भर नही आता कुछ किये बिन बुलंदियाँ पा लूँ मुझको ऐसा हुनर
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