नैन मंदिर हो गए
जब से तुम पलकों के पट में स्वप्न बन कर खो गए नैन मंदिर हो गए हैं, अश्रू चंदन हो
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Read Moreकिसी भी देश की एक पहचान होती है, उसके नागरिकों से। और नागरिकों की उनके गुणों से। इस आधार पर
Read Moreदीप हूँ मैं मैं मनुज के खोज की पहली कहानी जगत के उत्थान की मैं हूँ निशानी बिखर जाऊँ तो
Read Moreजब-जब दीप जलेंगे, दीवाली भी तब-तब हो जाएगी। अंधकार की इस दुनिया में, नहीं उम्र होती है ज्यादा और सूर्य
Read Moreमानव जीवन के चार पुरूषार्थों में से एक है-अर्थ अर्थात् धन अर्थात् लक्ष्मी। पर एक प्रकार का धन और होता
Read Moreसागर मंथन के पश्चात् क्षीरसागर का वातावरण प्रायः शांत और सौम्य ही रहा करता था। भारतीय राजनीति में दल के
Read Moreकहते हैं मनुष्य के दिमाग में एक कीड़ा होता है, जो समय-बेसमय पर उसे काटता रहता है। उस दिन कीड़े
Read Moreकरवाँ-चौथ पर चाँद के माध्यम से उन सभी के लिए एक रचना जो चाँद में अपना प्रियतम तलाशते हैं और
Read Moreआज ‘शरद-पूर्णिमा’ है। प्रायः आप लोग आकाश में रात के समय कभी-कभी चंद्रमा के बहुत पास और साथ-साथ एक तारे
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